विभाग, ‘’जागो ग्राहक जागो’’ नामक देशव्यापी मल्टीमीडिया जागरूकता कार्यक्रम आयोजित करता रहा है। सरल संदेशों के जरिए उपभोक्ताओं को कपटपूर्ण पद्धतियों या समस्याओं और उनसे निवारण संबंधी तंत्र के बारे में जानकारी दी जाती है।
ब्यूरो ऑफ आउटरिच एंड कम्युनिकेशन (बीओसी/दूरदर्शन (डीडी), आकाशवाणी (एआईआर), लोकसभा टीवी (एलएसटीवी) और राष्ट्रीय फिल्म विकास निगम (एनएफडीसी) के माध्यम से अभियान कार्यान्वित किए जाते हैं। विभाग ने अन्य संगठनों/विभाग के सहयोग से कुछ अभियान शुरू किए हैं। ये अभियान, प्रिंट मीडिया, टीवी, रेडियो, सिनेमा, थियेटरों, वेबसाइटों, होर्डिंग/यूनीपोलों/डिस्प्ले बोर्ड (हवाई अड्डों, रेलवे स्टेशनों, बस स्टैंडों पर), धार्मिक स्थानों/मेलों के पहुंच कार्डों, बोर्डिंग पासों के माध्यम से कार्यान्वित किए गए है। ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों से सीधे संवाद कर जागरूकता पैदा करने के लिए प्रायोगिक (पायलट) कार्यक्रम के रूप में मोबाइल वाहनों का प्रयोग भी किया गया है।
ग्रामीण और पिछड़े क्षेत्रों में रह रहे लोगों के बीच जागरूकता पैदा करने के लिए विभाग इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए विभिन्न राज्यों/संघ राज्य क्षेत्रों के मेलों/उत्सवो/कार्यक्रमों में भाग लेता है कि ऐसे मेलों/उत्सवों/कार्यक्रमों में ग्रामीण और पिछड़े क्षेत्रों से बड़ी संख्या में लोग भाग लेते हैं। वस्तुओं ओर सेवाओं की खरीदारी के संबंध में ‘क्या करें’ और ‘क्या न करें’ के बारे में सूचना का प्रसार करने और उपभोक्ताओं का मार्गदर्शन करने के लिए ‘’उपभोक्ता जागरूकता मंडप’’ नामक सूचना केंद्र स्थापित किया जाता है। इसके बढ़ते महत्व को ध्यान में रखते हुए विभाग सिंगल यूज प्लास्टिक, ऑनलाइन लेनदेन, बीआईएस मानकों, समाप्ति तिथि, राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन (एनसीएच), एमआरपी, हॉलमार्क, साइबर धोखाधड़ी के विरूद्ध संरक्षण, मूल्य स्थिरीकरण, खाद्य पदार्थों में मिलावट के बारे में जागरूकता पैदा करने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल कर रहा है। आवश्यकता के अनुसार, एफएसएसएआई, एनपीसीआई और बीआईएस जैसे संबंधित संगठनों के साथ परामर्श किया गया। डिजिटल सोशल मीडिया चैनल का प्रबंधन पेशेवर ढंग से किया जा रहा है और उपभोक्ता जागरूकता, संरक्षण और प्रचार के लिए संगत सृजनात्मक सामग्री को अद्यतन किया जाता है।
विभाग, स्थानीय सामग्री सहित उपभोक्ता जागरूकता के लिए गतिविधियां चलाने के लिए राज्यों/संघ राज्य क्षेत्रों के सहायता अनुदान जारी करता है।